अखिल भारतीय जाट महासभा ने मनाया आगरा विजय दिवस
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आगरा 12-जून। अखिल भारतीय जाट महासभा की आगरा इकाई के तत्वाधान में आज बोस्टन पब्लिक स्कूल के सभागार में आगरा विजय दिवस को शौर्य दिवस के रूप में जोर-शोर तरीके से मनाया गया। इस अवसर पर वक्ताओं ने महाराजा सूरजमल का भावपूर्ण स्मरण कर उनकी वीरता के अनेक किस्से तथ्यात्मक रूप से सभागार में रखे। जाट महासभा के जिला अध्यक्ष कप्तान सिंह चाहर की अध्यक्षता में संपन्न हुए आगरा विजय दिवस कार्यक्रम का शुभारंभ जाट महासभा के प्रदेश अध्यक्ष श्री प्रताप चौधरी(पूर्व विधायक),फतेहपुर सीकरी के विधायक चौधरी बाबूलाल और समाजसेवी जगत सिंह फौजदार व जिलाध्यक्ष कप्तान सिंह चाहर ने महाराजा सूरजमल के चित्र पर पुष्प व दीप प्रज्वलित कर किया। संचालन महामंत्री रामवीर सिंह नरबार ने किया।
कार्यक्रम में इतिहासकार श्री राज किशोर शर्मा( राजे) व डॉ सुरेंद्र सिंह ने ऐतिहासिक तथ्य रखे व कवि डॉ अगद सिंह धारिया व सुरेंद्र सिंह (सजग), गायक महावीर सिंह आदि ने अपनी रचनाओं से महाराजा सूरजमल का जोरदार वर्णन किया। और उनकी वीरता को कविता में पुरोया। अनेक डॉक्यूमेंट्री फिल्मों के निर्माता शैलेंद्र सिंह नरबार ने भी तथ्यात्मक जानकारी दी।
कार्यक्रम को संबोधित करते हुए विधायक चौधरी बाबूलाल ने कहा कि इतिहासकारों ने जाट समाज के योद्धाओं की इतिहास में उपेक्षा की है इसलिए लोगों को चाहिए कि ऐतिहासिक तथ्यात्मक जानकारी लेकर आगे आने वाली पीढ़ी को दें। मैं पूर्ण सहयोग को तैयार हूं। उन्होंने कहा आगरा को मुगलों के अत्याचार से मुक्त करा कर महाराजा सूरजमल ने बड़ा काम किया था लेकिन आगरा में उन्हें वह सम्मान प्राप्त नहीं है जिसके वह हकदार थे। क्षोभ व्यक्त करते हुए कहा कि महाराजा सूरजमल की प्रतिमा तक का आगरा में ना होना बड़े शर्म की बात है, किसी मार्ग का नाम भी उनके नाम पर नहीं रखा गया है।
उत्तर प्रदेश जाट महासभा के अध्यक्ष श्री प्रताप चौधरी( पूर्व विधायक) ने कहा कि महाराजा सूरजमल ने आगरा ही नहीं संपूर्ण ब्रज क्षेत्र को मुगलिया अत्याचार से मुक्त कराया था और उनका शासन सहारनपुर जींद अलवर धौलपुर फिरोजाबाद एटा बुलंदशहर आदि सीमा तक फैला हुआ था।
उन्होंने अपने जीवन में 80 युद्ध लड़े और एक भी युद्ध नहीं हारा आगरा किले में स्थित भरतपुर के राजा रतन सिंह की हवेली हवेली को पुरातत्व विभाग सार्वजनिक रूप से जनता के लिए खोले और उसका अनुरक्षण करे।
जाट महासभा के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष कुं शैलराज सिंह एडवोकेट ने क्षोभ व्यक्त करते हुए कहा कि महाराजा सूरजमल की प्रतिमा तक का आगरा में ना होना आगरा के लिए बड़े शर्म की बात है आगरा नगर निगम और उत्तर प्रदेश पर्यटन विभाग को चाहिए कि वह महाराजा सूरजमल की भव्य प्रतिमा आगरा किले के सामने लगवाएं। कार्यक्रम में अनेक प्रस्ताव पारित किए गए जिनमें प्रमुख रूप से महाराजा सूरजमल की आगरा में अश्वारोही भव्य प्रतिमा लगवाने,व 25- दिसंबर को महाराजा सूरजमल का बलिदान दिवस आगरा किले में मनाने का फैसला लिया गया।
विचार व्यक्त करने वालों में प्रमुख रूप से समाज सेवी जगत सिंह फौजदार,कमल चौधरी, चौ गोपीचंद,मोहन सिंह चाहर, वीरेंद्र सिंह छोंकर,चौ भूरी सिंह (पूर्व जिला पंचायत सदस्य) , डॉ हृदेश चौधरी, पूर्व प्रमुख मान सिंह , भूदेव प्रधान, मुकेश पहलवान,डा भानुप्रताप सिंह, गुलवीर सिंह,चौ नवल सिंह,डा रूपेश चौधरी, जय प्रकाश चाहर, भूपेंद्र सिंह राणा, रवीन्द्र चाहर, डा नेत्रपाल सिंह,सुरेंद्र चौधरी, अर्जुन सिंह छोंकर, सूवे जगदीश चाहर व श्यामवीर सिंह, अशोक चाहर, निशा चौधरी, दिव्या मलिक, सत्यपाल प्रधान, गुड्डा प्रधान, शिव सिंह प्रधान, रामवीर सिंह, हाकिम सिंह सोलंकी, जय प्रकाश चाहर, सन्नो चौधरी, सत्यवीर सिंह रावत, ह्रदय चौधरी, राज कुमार रावत, संजय सिंह, रवींद्र सिंह चाहर आदि ने विचार व्यक्त किये।
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